व्यापार मंडल द्वारा जीएसटी ज्वाइंट कमिश्नर श्री राकेश वर्मा के साथ बैठक आयोजित।

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देहरादून 18जुलाई । दून वैली महानगर उद्योग व्यापार मंडल, अंसारी मार्ग मुख्यालय में एक व्यापारियों की बैठक रखी गई जिसमे जीएसटी के ज्वाइंट कमिश्नर श्री राकेश वर्मा के सामने व्यापारियों को हो रही परेशानियों से अवगत करवाया।
दून वैली महानगर उद्योग व्यापार मंडल अध्यक्ष पंकज मैसोन द्वारा अपने व्यापार मंडल के पद अधिकारियों एवम व्यापारियों के साथ मिलकर इन निम्न लिखित बिंदुओं से अवगत करवाया जिससे व्यापारियों को नितांत परेशानियां का सामना करना पढ़ रहा हैं। व्यापार मंडल अध्यक्ष पंकज मैसोन का कहना है की उत्तराखंड सरकार इन बिंदुओं का हवाला लेते हुए व्यापारियों को हो रही इन समस्याओं से निजात दिलवाने के लिए केंद्र सरकार से अपने राज्य के व्यापारिक हितों में बात करते हुए व्यापारियों को निजात दिलवाए।

1. पंकज मैसोन द्वारा कहा गया की उत्तराखंड की चेक पोस्टों में छोटी मोटी गलती पर भी 20,000 रुपए का अर्थ दंड व्यापारी पर लगाया जा रहा है जिससे व्यापारी वर्ग में काफी रोष हैं।

2. सुशील अग्रवाल द्वारा कहा गया की अगर ईबे बिल पर लाए गए समान पर थोड़ी सी भी देर होजाए या कुछ हल्की फुल्की कंप्यूटर द्वारा दिक्कत होजाए तो भी व्यापारी वर्ग से अर्थ दंड वसूला जा रहा हैं।

3. हरीश विरमानी द्वारा अवगत करवाया की बाजारों में सर्वे के नाम पर व्यापारियों का उत्पीड़न हो रहा हैं उसे बंद किया जाए।

4. अशोक वर्मा द्वारा अवगत करवाया गया की व्यापारी द्वारा जो सामान मंगवाया जाता हैं जिस पर जीएसटी दे दिया गया है उसके पश्चात लगातार अलग अलग सामानों पर जीएसटी दे दिया जाता है तो जो व्यापारी का जीएसटी विभागो में अतिरिक्त जमा रहता हैं उसको व्यापारी को रिफंड करने की भी सुविधा बनाई जानी चाहिए।

5. विनय नागपाल द्वारा अवगत करवाया गया की व्यापारी द्वारा जीएसटी भरते समय अगर सर्वर की दिकत के कारण कुछ घंटों या मिनटों की देरी हो जाती हैं तो उस पर लेट फीस और ब्याज तो लगाया ही जा रहा है साथ ही 50,000 रुपए का अर्थदंड भी लगाने का जो प्रावधान है इससे व्यापारी वर्ग बहुत ज्यादा अपने आप को प्रताड़ित महसूस करता हैं जब की कुछ भी गलती होने पर उस गलती का पूरा ब्यौरा जानने के बाद ही विभाग द्वारा तय होना चाहिए की इस व्यापारी की कितनी बड़ी गलती थी या कितनी छोटी गलती थी उसको माफ कर ही उस पर दंड लगाना चाहिए।

6. पंकज दीदान द्वारा अवगत करवाया गया की जीएसटी के रजिस्ट्रेशन करवाने पर बहुत ज्यादा दस्तावेज मांगे जा रहे हैं जिसे व्यापारी पूरा नहीं कर पाने के कारण भी व्यापारी अपना रजिस्ट्रेशन नही करवा पा रहा है। रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया सरल होनी चाहिए जिससे अधिक से अधिक व्यापारी अपना जीएसटी रजिस्ट्रेशन आसानी से करवा पाए।

7. शेखर फुलारा द्वारा अवगत करवाया गया की अन्य राज्यों में जहां मध्यम वर्गीय व्यापारी के लिए जीएसटी में 40,00,000 तक का व्यवसाय करने वाले पर कोई जीएसटी नंबर लेने का प्रावधान नहीं है वहीं पहाड़ी राज्य होने के बाद भी उत्तराखंड में मात्र 20,00,000 रुपए का हैं जो की उत्तराखंड में भी 40,00,000 होना चाहिए और साथ ही जब यह जीएसटी नया नया आया था उस वक्त समाधान योजना का लाभ 1 करोड़ था और बाद में जिसे बढ़ाकर अन्य राज्यों में डेढ़ करोड़ रुपए कर दिया और उत्तराखंड राज्य में इसे 1 करोड़ से कम कर के 75 लाख रुपए कर दिया जो की गलत हैं हमारे उत्तराखंड में भी इसको डेढ़ करोड़ ही किया जाना चाहिए।

8. मनन आनंद द्वारा अवगत करवाया गया की जीएसटी आर-1 में भरते है और कुछ लोग विलंब से भरते कुछ तिमाही और कुछ मासिक रूप में भरते हैं इस अवस्था में जो आईटीसी है वो तिमाही रूप से दो महीने बाद प्राप्त होता हैं इस प्रकार मासिक विवरण देने वाले को अनावश्यक रूप से मासिक टैक्स जमा करना पढ़ता हैं जबकि उसका आईटीसी विभाग के पास पहले से ही टैक्स जमा हैं जिसका लाभ तीसरे महीने जा कर मिलता है।

9. सुरेश गुप्ता द्वारा अवगत करवाया गया की जो व्यापारी अपना जीएसटी नंबर खारिज करने के लिए दे देता है वह बहुत ही विलंब से खारिज होता हैं जिसका खामियाजा बहुत ज्यादा व्यापारी को बहुत ज्यादा भुगतना पढ़ता हैं।

10. दिव्य सेठी द्वारा अवगत करवाया गया की खाद्य पदार्थ जैसे आटा, डाल, चीनी, दूध, और हॉस्पिटल के बिलों पर भी जीएसटी लगाया जा रहा है जिससे खाद्य पदार्थ तो महंगा होगा ही और साथ ही इलाज करवाना भी बहुत महंगा हो जाएगा इसलिए हमारी मांग है की खाद्य पदार्थ और हॉस्पिटल के बिल्स में टैक्स नहीं लगाना चाहिए।

इस अवसर पर ज्वाइंट कमिश्नर राकेश वर्मा, डिप्यूटी कमिश्नर संजीव त्रिपाठी, डिप्यूटी कमिश्नर अवधेश पांडेय, असिस्टेंट कमिश्नर योगेश रावत, मुख्य संरक्षक अशोक वर्मा, मुख्य संरक्षक विजय बग्गा, संरक्षक कालू भगत, संरक्षक सुशील अग्रवाल, संरक्षक रवि मल्होत्रा , महामंत्री पंकज दीदान, उपाध्यक्ष हरीश विरमानी, सचिव विनय नागपाल, कोषाध्यक्ष राकेश किशोर गुप्ता, उपाध्यक्ष बलदेव पराशर, विनीत मिश्रा, रोहित बहल, अशोक अग्रवाल, सुरेश गुप्ता, दीपू नागपाल, युवा अध्यक्ष मनन आनंद, युवा सचिव दिव्य सेठी, युवा उपाध्यक्ष मनीष मोनी, युवा महामंत्री मोहित मेहता, युवा कोषधयक्ष नितेश मल्होत्रा, सनी कुमार, मनीष वासन, अमरदीप सिंह, दीपक चांदना, सचिन कथूरिया, पवन मेहेंदीरत्ता, सचिन जैन, पुनीत सेहगल, लाल चंद खेत्रपाल, सुभाष जसोरिया, हेम रस्तोगी, अमित नरूला, सुमित कंडारी, सार्थक विरमानी, मधुर शर्मा, संतोख सिंह, मनोज सिंघल, पुषार्थ मैनी, निशी कुकरेजा, नरेंद्र छाबरा, हरबंस कुकरेजा, रितेश दुआ, डिंपल, मोहमद आरिफ, मेहताब, धीरज विग, हैप्पी,दिव्ये सेठी (युवा सचिव) दून वैली महानगर उधोग व्यापार मंडल आदि मौजूद रहे ।