उत्तराखंड संस्कृत विश्वविद्यालय में युवा महोत्सव के अंतर्गत छात्र संघ समारोह आयोजित
हरिद्वार। उत्तराखंड संस्कृत विश्वविद्यालय में युवा महोत्सव के अंतर्गत आयोजित छात्र संघ समारोह में मुख्य अतिथि भारत माता मंदिर के महंत ललितानंद गिरि महाराज ने कहा कि युवा पीढ़ी सेवा को अपना धर्म बनाने के लिए आगे आए। समारोह में कुलपति प्रोफेसर दिनेश चंद्र शास्त्री ने घोषणा की कि संस्कृत यूनिवर्सिटी अपने छात्र-छात्राओं को देश के क्रांति-तीर्थों की यात्रा कराएगी।
मुख्य अतिथि महामंडलेश्वर स्वामी ललितानंद गिरि ने कहा कि समाज के भिन्न-भिन्न रूपों में ईश्वर की मौजूदगी है,यदि कोई ईश्वर की आराधना करना चाहता है तो उसे वंचित वर्ग की सेवा को अपना धर्म बनाना चाहिए।
कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे उत्तराखंड संस्कृत विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर दिनेश चंद्र शास्त्री ने कहा कि भारत विविधताओं का देश है। इन विविधताओं को एक सूत्र में पिरो कर भारत को श्रेष्ठ और विकसित करने में युवा पीढ़ी की महत्वपूर्ण भूमिका है। मुख्य वक्ता आरएसएस के जिला संघचालक रोहिताश कुंवर ने कहा कि हमारे युवाओं को अपनी प्रेरणा शिवाजी महाराज, ऋषि दयानंद, स्वामी विवेकानंद, सुभाष चंद्र बोस और डॉ कलाम जैसी हस्तियों में ढूंढनी चाहिए। युवाओं के आगे बढ़ने की दिशा से ही देश की दिशा निर्धारित होगी। उन्होंने इस बात पर चिंता जताई कि युवा वर्ग में नशे की प्रवृत्ति काफी तेजी से बढ़ रही है। इसी क्रम में छात्र कल्याण के डीन डॉ. लक्ष्मीनारायण जोशी ने युवा महोत्सव के अंतर्गत संपन्न हुए कार्यक्रमों का विवरण प्रस्तुत किया और कहा कि आगामी वर्ष में इस समारोह को और भव्य स्तर पर आयोजित किया जाएगा। धन्यवाद ज्ञापन कुलसचिव गिरीश कुमार अवस्थी ने किया। इससे पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष सागर खेमरिया की पहल पर छात्र संघ के पूर्व अध्यक्ष डॉ. शिवचरण नौडियाल, अनूप बहुखंडी और प्रभात पंवार का सम्मान किया गया। समारोह का संचालन डॉ शैलेश तिवारी ने किया। इस अवसर पर प्रो. दिनेश चमोला, उपकुलसचिव दिनेश कुमार, डॉ अरविंद नारायण मिश्र, डॉ. प्रकाश पंत, डॉ. राम खंडेलवाल डॉ उमेश शुक्ल, डॉ. कामाख्या कुमार आदि समेत अनेक प्रमुख लोग उपस्थित थे।