*केवट ने कराई गंगा पार श्री राम और भरत मिलाप की लीला का मंचन*

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कैराना। ज्ञात रहे कि हर वर्ष की बात इस वर्ष भी गौशाला भवन कैराना में श्री रामलीला महोत्सव बड़ी धूमधाम के साथ बनाया जा रहा है जिसमें रामलीला महोत्सव के नौवें दिन की लीला का प्रारंभ बाबा बरखंडी महादेव कमेटी के अध्यक्ष पंडित स्वराज शर्मा, महासचिव अनिल कुमार मित्तल एडवोकेट और कार्यकारणी के द्वारा किया गया l इसके उपरांत प्रथम दृश्य में दिखाया गया कि रामचंद्र जी मंत्री सुमंत और सभी प्रजा वासियों के साथ वन की और निकल जाते हैं वहां पर रास्ते में सभी प्रजा वासियों को सोता हुआ छोड़कर मंत्री सुमंत को लेकर आगे बढ़ जाते हैं और अपनी बालो और जटाओं को बढ़ाते हैं और पीले वस्त्र धारण कर संत का रूप धारण कर लेते हैं। और रास्ते में कुछ आगे जाने के उपरांत सुमंत को भी छोड़कर आगे बढ़ जाते हैं और गंगा जी के किनारे पहुंच जाते हैं वहां पर उन्हें केवट नाम का मल्हा मिलता है जिससे रामचंद्र जी गंगा पार करने के लिए कहते हैं परंतु केवट उन्हें कहता है कि मैं आपको गंगा पार तब ही करूंगा जब आप अपने चरण मुझे धुलवा लेंगे जिस पर रामचंद्र जी केवट से अपने चरण धुलवाते हैं और गंगा पार कर चित्रकूट पर्वत पर पहुंच जाते हैं रास्ते में उनकी मुलाकात जंगल के राजा गोह से होती है जिन्हें वह सारा वृतांत बताते हैं राजा गोह उन्हें चित्रकूट पर्वत पर जाकर रहने के लिए कहते हैं उधर जब मंत्री सुमंत अयोध्या जाकर महाराज दशरथ को सारा वृतांत बताते हैं तो महाराज दशरथ पुत्र के वियोग में तड़प तड़पकर अपने प्राण त्याग देते हैं। जब ननिहाल में गए भरत और शत्रुघ्न को दूत भेज कर इसकी सूचना भेजी जाती है और भरत को अयोध्या आने पर मालूम होता है कि महाराजा दशरथ ने अपने प्राण त्याग दिए हैं जब वह माता केकई से मिलने जाते हैं तो माता केकई उन्हें सारा वृत्तांत बताती है कि मैं तुम्हारे लिए महाराज दशरथ से अपने दो वरदान मांगे थे जिसमें एक में तुम्हारा हित देखते हुए तुम्हें राजतिलक और दूसरे में राम को 14 वर्ष का वनवास मांगा था जिस कारण माता-पिता के आदेश पर राम लक्ष्मण और सीता वनवास के लिए गए हैं जिस पर भरत जी और शत्रुघ्न जी बेहद व्याकुल होते हैं और क्रोधित शत्रुघ्न मंथरा को गुस्से में लात मारता है और रामचंद्र जी से मिलने की भरत जी इच्छा जाहिर करते हैं जिस पर तीनों माताएं गुरु वशिष्ठ और भरत शत्रुघ्न रामचंद्र जी से मिलने के लिए वन के लिए जाते हैं रास्ते में निषाद राज राजा गोह उन्हें मिलते हैं जो उन्हें मिलवाने के लिए चित्रकूट पर्वत पर लेकर जाते हैं वहां पर भरत जी रामचंद्र जी से अयोध्या वापस चलने की गुहार लगाते हैं और उन्हें बताते हैं कि महाराज दशरथ ने भी अपने प्राण त्याग दिए हैं जिससे रामचंद्र जी बेहद दुःखी होते हैं और वह भरत जी से कहते हैं कि मैं अपने माता-पिता के आदेश का उल्लंघन नहीं कर सकता इसलिए वह मजबूर है कि वह अयोध्या वापस चले इस पर गुरु वशिष्ठ भरत जी को कहते हैं कि रामचंद्र की मर्यादा पुरुषोत्तम है और यह वापस नहीं जाएंगे जिस पर भरत जी रामचंद्र जी से उनकी खड़ाऊ मांगते हैं और कहते हैं कि मैं महाराज की सिंहासन पर आपकी खड़ाऊ रखकर राज सेवा का कार्य करूंगा और खड़ाऊ सर पर रखकर वापस चले जाते हैं साथ ही उधर रामचंद्र जी लक्ष्मण जी से कहते हैं कि अब चित्रकूट पर्वत का रास्ता सबको मिल गया है अब अयोध्या वासी हमें बार-बार आकर परेशान करेंगे इससे बेहतर है कि इस स्थान को परिवर्तित करते हुए किसी अन्य स्थान को वन गमन के लिए चुनना बेहतर रहेगा और चित्रकूट पर्वत छोड़कर चले जाते हैं राम का अभिनय रोहित कुमार, लक्ष्मण का शिवम गोयल, सीता जी का सागर मित्तल, भरत का अनमोल वर्मा, शत्रुध्न का वाशु मित्तल, सुमंत का नवीन शर्मा, प्रजावासियों का राकेश गर्ग, सोनू , अतुल गर्ग, पंकज सिंघल, प्रमोद गोयल, अभिषेक गोयल, सोनू नेता, केवट का राकेश गर्ग, दशरथ का पुनीत गोयल, केकई का सनी , कौशल्या का जतिन, सुमित्रा का शिव शर्मा, वशिष्ठ का डॉ सुशील ने सुन्दर मंचन किया l स्टेज पर सुंदर झांकी डायरेक्टर सुनील कुमार टिल्लू के नेतृत्व में लगाई गई वहीं भारी संख्या में श्रद्धालु गण मौजूद रहे l
श्रीरामलीला मंचन में मुख्य रूप से अध्यक्ष जयपाल सिंह कश्यप , सचिव आलोक गर्ग, कोषाध्यक्ष संजू वर्मा, डॉ रामकुमार गुप्ता, अतुल कुमार गर्ग, सुशील कुमार सिंघल, राकेश गर्ग, अनिल कुमार कुंगरवाल, एडवोकेट शगुन मित्तल, डॉक्टर सुशील कुमार, सुनील कुमार टिल्लू ,विक्की, पुनीत कुमार गोयल, राजेश नामदेव, सतीश, राकेश प्रजापति, शिवम गोयल, अभिषेक गोयल, विकास वर्मा, राहुल सिंघल, अश्विन सिंघल, विजय नारायण तायल, मनोज मित्तल सोनू नेता, ऋषि पाल शेरवाल, विपुल कुमार जैन, पंडित वीरेंद्र कुमार वशिष्ठ, जयपाल सिंह, आशु गर्ग, सागर मित्तल, सुनील कुमार टिल्लू, सूरज वर्मा, अंकित जिंदल, सनी, डिंपल अग्रवाल, अमित सिंगल, मास्टर अमित सेन, रोहित नामदेव , विराट नामदेव, राजेश सिंघल कालू , अनमोल शर्मा, अमन गोयल, तुषार वर्मा, पंडित मोहित जी, विपुल कुमार जैन, अभिषेक भारद्वाज, निक्की शर्मा व सचिन शर्मा आदि मौजूद रहे l

रिर्पोट : सिद्धार्थ भारद्वाज प्रभारी दिल्ली एनसीआर।