देहरादून 06 फ़रवरी। राजभवन देहरादून में इस साल का वसंतोत्सव 7 से 9 मार्च के बीच धूमधाम से आयोजित किया जाएगा। इस भव्य आयोजन की रूपरेखा तय करने के लिए बुधवार को राजभवन में राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (सेनि) की अध्यक्षता में बैठक आयोजित हुई। राज्यपाल ने इस उत्सव को और अधिक लोकप्रिय बनाने और लोगों की व्यापक भागीदारी सुनिश्चित करने पर जोर दिया।
उन्होंने निर्देश दिए कि प्रदेश के पुष्प उत्पादकों और महिला स्वयं सहायता समूहों को इस कार्यक्रम से अधिक से अधिक लाभ मिले। इसके लिए वसंतोत्सव का प्रचार-प्रसार बड़े स्तर पर किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इस आयोजन के माध्यम से उत्तराखंड में फूलों की खेती को बढ़ावा दिया जाए और यहां के सगंध पौधों (एरोमैटिक प्लांट्स) की पहचान देशभर में बने।फूलों की प्रदर्शनी से बढ़ेगा व्यापार।
राज्यपाल ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि इस प्रदर्शनी को व्यावसायिक दृष्टिकोण से भी उपयोगी बनाया जाए। स्थानीय फूल उत्पादकों को न केवल प्रदेश बल्कि पूरे देश में अपने फूलों की मार्केटिंग के अवसर मिलें, इसके लिए खास प्रयास किए जाएं। उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि इस कार्यक्रम में आईएचएम और जीएमवीएन के सहयोग से एक आकर्षक फूड कोर्ट भी लगाया जाए, जिससे आगंतुकों को पहाड़ी व्यंजनों का आनंद मिल सके।
वसंतोत्सव में पारंपरिक मोटे अनाज (मिलेट्स) से बने व्यंजनों को प्राथमिकता दी जाएगी, ताकि लोगों को स्वस्थ खानपान के महत्व के बारे में जागरूक किया जा सके। इसके साथ ही, राज्यपाल ने निर्देश दिए कि शहद उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए जीबी पंत कृषि विश्वविद्यालय विशेष स्टॉल लगाए। इस आयोजन में स्थानीय उत्पादों को एक नया मंच मिलेगा, जिससे किसानों और छोटे उद्यमियों को सीधा लाभ पहुंचेगा।
इस उत्सव में सिर्फ फूलों की प्रदर्शनी ही नहीं, बल्कि सांस्कृतिक कार्यक्रम भी खास आकर्षण होंगे। आईटीबीपी, आईएमए, पीएसी और होमगार्ड के बैंड अपने शानदार प्रदर्शन से इस आयोजन को और यादगार बनाएंगे। आयोजन के दौरान बेहतर प्रबंधन सुनिश्चित करने के लिए फीडबैक सिस्टम भी लागू किया जाएगा, जिससे भविष्य में इसे और भव्य बनाया जा सके।
इस आयोजन में 15 अलग-अलग श्रेणियों में विभिन्न प्रतियोगिताएं कराई जाएंगी, जिसमें 162 पुरस्कार दिए जाएंगे। इस बैठक में महानिदेशक होमगार्ड डॉ. पीवीके प्रसाद, सचिव राज्यपाल रविनाथ रामन, सचिव कृषि एवं कृषक कल्याण एसएन पांडेय, अपर सचिव राज्यपाल स्वाति एस भदौरिया, मनु महाराज और दीप्ति सिंह समेत कई वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे।