देहरादून 12 जुलाई । मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शुक्रवार को मेला नियंत्रण कक्ष हरिद्वार में कावड़ मेला 2024 की तैयारियों को लेकर समीक्षा की। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिये कि कांवड़ मेला शुरू होने से पहले सभी तैयारियां पूर्ण कर ली जाए। उन्होंने कहा कि यह सुनिश्चित किया जाए कि कांवड़ के दौरान किसी भी प्रकार की अव्यवस्था न हो। स्थानीय लोगों को आवागमन में अनावश्यक परेशानी न हो। उन्होंने कहा कि कांवड़ मेला हर वर्ष आयोजित होता है, इसके दृष्टिगत स्थायी प्रकृति के कार्यों को प्राथमिकता दी जाए। दीर्घकालीन विकास की कार्य योजनाओं को कार्य संस्कृति में लाने के निर्देश दिये।
मुख्यमंत्री ने कहा की शिव भक्त कावड़ियों के स्वागत में हेली से पुष्प वर्षा की व्यवस्था की जाए। कावड़ यात्रा के दौरान आने वाली चुनौतियों से निपटने के लिए पुलिस और प्रशासन तैयार रहे। कावड़ यात्रा में संपूर्ण मार्ग पर पुलिस बलों की तैनाती के साथ विभिन्न स्थानों पर अस्थाई पुलिस चौकी का निर्माण कार्य भी कराया जाए एवं अतिरिक्त पुलिस फोर्स की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। अत्यधिक भीड़-भाड़ वाले इलाकों में ड्रोन एवं सीसीटीवी कैमरों से भी नियमित निगरानी रखे जाने के निर्देश भी मुख्यमंत्री ने दिए। बाईपास और वैकल्पिक मार्गों की जानकारी साइन बोर्ड के माध्यम से कावड़ियों को दी जाए। उन्होंने कांवड़ को सकुशल सम्पन्न कराने के लिए निरन्तर पड़ोसी राज्यों से भी समन्वय स्थापित कर कार्य करने के निर्देश दिए।
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये कि कावड़ यात्रा से पहले कावड़ पटरी के सौंदर्यीकरण एवं अन्य मूलभूत व्यवस्थाएं सुनिश्चित करवाई जाए। कावड़ यात्रा मार्ग पर शौचालयों, स्नान घरों,स्वच्छ पेयजल, यात्री शेड, लाईट, मेडिकल सुविधाओं की पर्याप्त व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। कावड़ियों की यात्रा और सुगम सरल हो इसका विशेष ध्यान रखा जाए। यात्रा मार्ग एवं हरिद्वार क्षेत्र में स्थित होटलों ढाबों में भोजन की गुणवत्ता हेतु गुणवत्ता चेकिंग अभियान नियमित चलाया जाए, होटलों और ढाबों में रेट लिस्ट लगाये जाए। कावड़ यात्रा के दौरान साफ-सफाई का विशेष ध्यान दिया जाए, सफाई का कार्य 24 घंटे संचालित रहे। यह सुनिश्चित किया जाए कि मेला क्षेत्र में किसी तरह का अतिक्रमण न हो।
मुख्यमंत्री ने कहा कि स्थानीय लोगों को आवाजाही में किसी प्रकार की दिक्कत का सामना न करना पड़े, सड़कों पर यातायात प्रभावित न हो, यातायात प्रबंधन के लिये बेहतर रूट प्लान बनाया जाए। उन्होंने हरिद्वार क्षेत्र में पर्याप्त पार्किंग की व्यवस्था करने के निर्देश दिए। अन्य राज्यों से परस्पर समन्वय बनाकर कॉमन डायवर्जन प्लान बनाने के भी निर्देश दिए। इसके अलावा वाटर एंबुलेंस की व्यवस्था भी कावड़ यात्रा के दौरान की जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि कावड़ यात्रा में भी विशेष वेरिफिकेशन ड्राइव चलाए जाए। ताकि पहचान छुपा कर आने वाले लोगों पर सख्ती से कार्यवाही अमल में लाई जा सके। विभिन्न कार्यों के सुपरविजन हेतु विशेष मजिस्ट्रेट की नियुक्तियां भी की जाए।
जिलाधिकारी धीराज सिंह गर्ब्याल ने बताया कि कावड़ मेला अवधि 22 जुलाई से 2 अगस्त तक है। इस वर्ष 5.5 करोड़ कावड़ियों के हरिद्वार आने की संभावना है। कांवड यात्रा के सुचारू संचालन हेतु कन्ट्रोल रूम की स्थापना की गई है, जो 24 घण्टे संचालित होगा। यात्रा के सुचारू संचालन हेतु 14 सुपर जोन, 36 जोन एवं 130 सेक्टर बनाये गये हैं। मेले के लिए 5 नोडल अधिकारियों को नामित किए गए हैं। कांवड पटरी एवं प्रमुख मार्गों को यात्रा हेतु सुगम एवं सुविधाजनक बनाया गया है। स्वास्थ्य शिविर, मोबाईल मेडिकल टीम एवं एम्बुलेंस की सुविधा भी बढ़ाई जा रही है।
बैठक के दौरान श्रीगंगा सभा, विभिन्न संगठनों, जनप्रतिनिधियों ने बीते वर्ष सफल कावड़ यात्रा हेतु मुख्यमंत्री का आभार जताया एवं कावड़ मेला- 2024 के लिए अपने सुझाव मुख्यमंत्री के समक्ष रखे। जिस पर मुख्यमंत्री ने जिला प्रशासन एवं विभिन्न संगठनों, एनजीओ एवं स्थानीय जनता के सहयोग से यात्रा को सफल बनाने का आग्रह किया। साथ ही वर्चुअल माध्यम से जुड़े जिलाधिकारी देहरादून, रूद्रप्रयाग और पौड़ी ने जिले स्तर पर की गई तैयारी के संबंध में मुख्यमंत्री को अवगत करवाया।
इस अवसर पर जिला पंचायत अध्यक्ष किरण चौधरी, विधायक आदेश चौहान, प्रदीप बत्रा, श्रीमती ममता राकेश, पूर्व कैबिनेट मंत्री स्वामी यतीश्वरानंद, पूर्व विधायक संजय गुप्ता, मुख्य सचिव श्रीमती राधा रतूड़ी, अपर मुख्य सचिव आनंद बर्धन, प्रमुख सचिव आर के सुधांशु, एल.फैनई, डीजीपी श्री अभिनव कुमार, सचिव शैलेश बगोली, नितेश कुमार झा, सचिन कुर्वे विनोद कुमार सुमन, डॉ.आर.राजेश कुमार, कमिश्नर गढ़वाल विनय शंकर पाण्डेय, एडीजी श्री ए.पी. अंशुमान, आई.जी गढ़वाल के.एस नगन्याल, अपर सचिव रणवीर सिंह चौहान, महानिदेशक सूचना बंशीधर तिवारी, एसएसपी. हरिद्वार प्रमेन्द्र डोभाल एवं जिलास्तरीय अधिकारी उपस्थित थे।